ठंडी सुबह में, धातु की सतह लकड़ी की तुलना में अधिक ठंडी महसूस होती है क्योकि
धातु की विशिष्ट ऊष्मा अधिक होती है
धातु की ऊष्मीय चालकता अधिक होती है
धातु की विशिष्ट ऊष्मा कम होती है
धातु की ऊष्मीय चालकता कम होती है
दो पदार्थो जिनके ऊष्मा चालकता गुणांक $K$ तथा $2K$ तथा मोटाई क्रमश: $x$ तथा $4x$ है, को जोड़कर एक संयुक्त पट्टिका बनायी गयी है, जिसके दो बाह्य पृष्ठों के ताप क्रमश: $T_2$ तथा $T_1$ ($T_2$ > $T_1$). हैं। स्थायी अवस्था में इस पट्टिका से प्रवाहित ऊष्मा की दर $\left( {\frac{{A({T_2} - {T_1})K}}{x}} \right)f$, है, जिसमें $f$ का मान है
समान धातुओं से बनी व समान अनुप्रस्थ परिच्छेद वाली तीन छडे एक समद्विबाहु त्रिभुज $ABC$ की भुजाएँ बनाती हैं जो कि $B$ पर समकोणीय है। बिन्दुओं $A$ व $B$ को क्रमश: ताप $T$ व $(\sqrt 2 )T$ पर रखा गया है। स्थायी अवस्था (Steady state) में बिन्दु $C$ का ताप $TC$ है। मानाकि केवल ऊष्मा चालन होता है, तो $\frac{{{T_C}}}{T}$ का मान होगा
निम्न छड़ों (विमीय रूप से समान है) में से किसमें ऊष्मीय धारा अधिकतम होगी
जाड़े के दिनों में हम धूप में बैठना पसन्द करते हैं क्योंकि
समान आकार वाली चाँदी, ताँबा, पीतल एवं लकड़ी की छड़ों पर कागज लपेटकर उन्हें ज्वाला में गर्म किया जाता है। सबसे पहले कागज जलने लगेगा